आप iphone भी बनाएगी tata|टाटा और एप्पल: भारत में पहली बार मैन्युफैक्चर होंगे आईफो

 

आप iphone भी बनाएगी tata|टाटा और एप्पल: भारत में पहली बार मैन्युफैक्चर होंगे आईफोन
आप iphone भी बनाएगी tata|टाटा और एप्पल: भारत में पहली बार मैन्युफैक्चर होंगे आईफोन


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एक समय था जब iphone की CEO Tim cook ने कहा था कि भारत जैसे गरीब देश में इतना महंगा phone खरीदेगा कौन, यह बात बोलना एप्पल के सीईओ को भारी पड़ गया क्योंकि भारत कोई गरीब देश नहीं है, जब से नई सरकार बनी है तब से,

पहले एप्पल का सबसे बड़ा मैन्युफैक्चरर था China लेकिन अभी के समय में एप्पल वालों ने चीन चीन में प्रोटेक्शन काम करके इंडिया में बरौनी का घोषणा किया है, आगे आप लोगों को जानकारी बहुत ही खुशी होगी क्योंकि एप्पल के साथ जिस कंपनी ने अपना कांटेक्ट साइन किया है वह कंपनी है टाटा,



 टाटा और एप्पल: भारत में पहली बार मैन्युफैक्चर होंगे आईफोन

भारत में एक ऐतिहासिक कदम उठाया गया है, जब टाटा ग्रुप और एप्पल ने मिलकर देश में पहली बार आईफोन का मैन्युफैक्चरिंग शुरू करने का निर्णय लिया है। यह साझेदारी भारतीय तकनीकी उद्योग और वैश्विक स्मार्टफोन बाजार में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो सकती है। 


इस साझेदारी के तहत, टाटा की मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स में आईफोन के विभिन्न मॉडल्स का उत्पादन होगा, जिससे भारत को तकनीकी क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने का अवसर मिलेगा। इसके अलावा, यह कदम भारतीय बाजार में एप्पल के उत्पादों की उपलब्धता और प्रतिस्पर्धा को भी बढ़ावा देगा।


1. भारत में आईफोन निर्माण: एक नया अध्याय


टाटा और एप्पल का नया सहयोग:


साझेदारी:एप्पल ने अपनी उत्पादन प्रक्रिया को भारत में लाने के लिए टाटा की मैन्युफैक्चरिंग कंपनी Wistron के साथ साझेदारी की है। 

समय: 9 सितंबर 2022 को Bloomberg द्वारा रिपोर्ट की गई इस साझेदारी के बाद से भारत में आईफोन के निर्माण की प्रक्रिया शुरू हो गई है।


भारत में मैन्युफैक्चरिंग हब:


शहर: चेन्नई और बेंगलुरु में फॉक्सकोन्न और पेगाट्रॉन जैसी कंपनियों ने भी अपने निर्माण केंद्र स्थापित किए हैं।


 2. भारत में आईफोन की संभावनाएँ


कीमत में संभावित कमी:


आशंका:भारत में मैन्युफैक्चरिंग के शुरू होने से आईफोन की कीमत 40,000 रुपये से कम हो सकती है। 


अंतरराष्ट्रीय उत्पादन का बदलाव:


चीन का स्थान: एप्पल का मुख्य मैन्युफैक्चरर पहले चीन था, लेकिन अब भारत को इसके उत्पादन हब के रूप में देखा जा रहा है।


3. संभावित प्रभाव


भारत की तकनीकी प्रगति:


टेक्नोलॉजी में विकास:भारत में आईफोन का निर्माण तकनीकी क्षेत्र में देश की प्रगति को दर्शाता है और इसे विश्व मानचित्र पर और भी प्रमुख बनाता है।


स्थानीय रोजगार:


रोजगार के अवसर:भारत में आईफोन के निर्माण से नए रोजगार के अवसर उत्पन्न होंगे और स्थानीय उद्योग को बढ़ावा मिलेगा।

 

4. निष्कर्ष


भारत में एप्पल द्वारा आईफोन निर्माण की शुरुआत एक महत्वपूर्ण कदम है, जो तकनीकी क्षेत्र में देश की वृद्धि और आर्थिक समृद्धि को नई दिशा दे सकता है।


स्रोत: Bloomberg Report (9 सितंबर 2022)


 


प्रमुख बिंदु:


1.उत्पादन स्थान:टाटा ग्रुप की निर्माण सुविधाएं, जो पहले से ही भारतीय बाजार में प्रमुख मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में स्थापित हैं, अब एप्पल के स्मार्टफोन्स का उत्पादन करेंगी।

   

2.आर्थिक प्रभाव:इस नई साझेदारी से स्थानीय रोजगार के अवसर पैदा होंगे और भारतीय अर्थव्यवस्था को समर्थन मिलेगा। 


3.तकनीकी आत्मनिर्भरता:भारत में आईफोन के निर्माण से तकनीकी आत्मनिर्भरता में वृद्धि होगी और विदेशी निर्भरता में कमी आएगी।


4.उपभोक्ता लाभ:भारतीय उपभोक्ताओं को बेहतर मूल्य और उपलब्धता की संभावना होगी, जो भारतीय बाजार के लिए सकारात्मक संकेत है।



FAQ:


Q1: टाटा और एप्पल की साझेदारी से भारतीय बाजार में क्या बदलाव आएंगे?

A1:इस साझेदारी से भारतीय बाजार में आईफोन की उपलब्धता बढ़ेगी और संभावित रूप से कीमतों में भी सुधार हो सकता है। इसके अतिरिक्त, यह स्थानीय रोजगार और अर्थव्यवस्था को समर्थन देगा।


Q2: किस प्रकार की आईफोन मॉडल्स का उत्पादन भारत में होगा?

A2:प्रारंभिक चरण में, कुछ प्रमुख आईफोन मॉडल्स जैसे कि आईफोन 15 और आईफोन 14 के निर्माण की संभावना है, लेकिन भविष्य में अन्य मॉडल्स का भी उत्पादन हो सकता है।


Q3: इस उत्पादन केंद्र के उद्घाटन की तारीख क्या है?

A3:वर्तमान में, इस साझेदारी के तहत उत्पादन केंद्र के उद्घाटन की तारीख की पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन इसे 2024 के अंत तक शुरू किए जाने की संभावना है।


Q4: क्या इससे भारतीय उपभोक्ताओं को कोई विशेष लाभ मिलेगा?

A4:हां, इस साझेदारी से भारतीय उपभोक्ताओं को अधिक उपलब्धता और संभावित रूप से प्रतिस्पर्धी कीमतों का लाभ मिल सकता है।


Q5:टाटा और एप्पल के बीच इस साझेदारी की मुख्य उद्देश्य क्या है?

A5:मुख्य उद्देश्य भारत में उत्पादन की सुविधा स्थापित करना, स्थानीय रोजगार के अवसर बढ़ाना और भारतीय बाजार में प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देना है।





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